सुप्रीम कोर्ट ने महिलाओं को NDA की परीक्षा देने की अनुमति दी, केंद्र सरकार ने दिया था यह जवाब
अब महिलाओं को सितंबर में होने वाली राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (NDA) की परीक्षा देने की अनुमति मिल गई है। इसके लिए सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को एक अंतरिम आदेश भी पारित कर दिया है।
अब महिलाओं को सितंबर में होने वाली राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (NDA) की परीक्षा देने की अनुमति मिल (Women In NDA) गई है। इसके लिए सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को एक अंतरिम आदेश भी पारित कर दिया है। जिसके तहत सर्वोच्च न्यायालय (Supreme Court) ने महिलाओं को NDA की परीक्षा में शामिल नहीं होने देने के लिए सेना को भी फटकार लगाई है।
जनहित याचिका पर सुनवाई पर आया यह फैसला-
सैनिक स्कूल और नेशनल इंडियन मिलिट्री कॉलेज में लड़कियों का दाखिला नहीं कराने को लेकर सुप्रीम कोर्ट में बुधवार को एक जनहित याचिका पर सुनवाई हो रही थी जिसमें कोर्ट ने इस मसले पर भी अपना फैसला सुनाया। फैसला सुनाने के बाद कोर्ट ने आदेश भी जारी कर दिया है।
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कौन हैं याचिकाकर्ता जिनकी वजह से आया यह फैसला-
यह याचिका वकील कुश कालरा ने दायर की थी। जोकि पुणे स्थित राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (NDA) और केरल स्थित भारतीय नौसेना अकादमी (INA) में प्रवेश पाने के लिए पुरुषों के समान महिलाओं के लिए समान अवसर (Women In NDA) की मांग कर रहे थे। जिनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने एक बड़ा फैसला सुनाया।
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केंद्र सरकार ने कही थी यह बात-
वरिष्ठ अधिवक्ता चिन्मय प्रदीप शर्मा ने बताया कि “हमें कल भारत संघ (Union Government) से जवाबी हलफनामा मिला है। जवाबी हलफनामे में, वे जो कहते हैं, वह यह है कि यह विशुद्ध रूप से एक नीतिगत निर्णय है और इसमें अदालत द्वारा हस्तक्षेप नहीं किया जाना चाहिए और क्योंकि लड़कियों को एनडीए में प्रवेश (Women In NDA) करने की अनुमति नहीं है। इसका मतलब यह नहीं है कि उनकी प्रगति या उनके करियर में कोई कठिनाई है”। जिससे यह साफ था कि केंद्र सरकार नहीं चाहती थी कि कोर्ट इसमें हस्तक्षेप करे। लेकिन कोर्ट ने ना सिर्फ हस्तक्षेप किया बल्की फैसला सुनाकर आदेश भी जारी कर दिया है।