Assam-Mizoram Conflicts: पीछे हटने को नहीं तैयार मिजोरम, सीएम हिमंत पर नर्म, पुलिस पर सख्त
असम और मिजोरम (Assam Mizoram) विवाद एक भूमि के हिस्से के लिए कायम है। इसी बीच असम पुलिसकर्मियों की मौत के बाद असम के ही मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा पर मिजोरम पुलिस ने एफआईआर दर्ज किया था।
असम और मिजोरम (Assam Mizoram) विवाद एक भूमि के हिस्से के लिए कायम है। इसी बीच असम पुलिसकर्मियों की मौत के बाद असम के ही मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा पर मिजोरम पुलिस ने एफआईआर दर्ज किया था। इसमें मुख्यमंत्री के साथ अन्य अधिकारी शामिल थे। इन सभी पर मिजोरम पुलिस ने हत्या का प्रयास के अंतर्गत एफआईआर दर्ज की थी। जिसे अब मिजोरम सरकार वापल लेने को तैयार है।
ऐसे हटाया जाएगा सीएम हिमंत बिस्वा सरमा का नाम-
एफआईआर को लेकर मिजोरम सरकार में मुख्य सचिव लालनुनमाविया चुआंगो (Chief Secretary Lalnunmawia Chuango) ने कहा कि इस एफआईआर को लेकर मिजोरम के मुख्यमंत्री जोरमथंगा ने भी हिमंत बिस्वा सरमा का नाम एफआईआर में शामिल करने की मंजूरी नहीं दी थी। एफआईआर को लेकर चुआंगो ने कहा कि वह इस मामले पर संबंधित पुलिस अधिकारियों के साथ चर्चा करेंगे और अगर उनके खिलाफ आरोपों को साबित करने के लिए कोई कानूनी वैधता नहीं है तो असम के मुख्यमंत्री का नाम एफआईआर से हटा दिया जाएगा।
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200 पुलिसकर्मियों और छह अधिकारियों का क्या होगा-
मुख्यमंत्री का नाम लेकर मिजोरम के मुख्य सचिव ने असन के पुलिस अधिकारियों और 200 पुलिसकर्मियों के खिलाफ दर्ज एफआईआर के बारे में कुछ नहीं कहा। बता दें कि मिजोरम पुलिस ने हिमंत बिस्वा सरमा के साथ-साथ असम पुलिस के चार वरिष्ठ अधिकारियों और दो अधिकारियों पर ‘हत्या की कोशिश’, ‘आपराधिक साजिश’ और ‘हमला’ सहित विभिन्न आरोपों में मामला दर्ज किया है। इसके अलावा, मिजोरम पुलिस ने असम पुलिस के 200 अज्ञात कर्मियों के खिलाफ भी आपराधिक मामले दर्ज किए हैं। इनमें से कुछ अधिकारियों को मिजोरम पुलिस ने पेशी के लिए भी कहा है।
नहीं थम रहा असम-मिजोरम विवाद, सीएम हिमंत बिस्वा के खिलाफ हत्या के आरोप में केस दर्ज
Assam-Mizoram के पूरे मामले पर दिल्ली की निगाह-
इन दोनों राज्यों (Assam Mizoram) को बीच हुई हिंसक झड़प में छह पुलिसकर्मियों सहित असम के कम से कम सात लोग मारे गए थे। जिसके बाद से असम और मिजोरम के बीच मामला गर्मा गया है। दोनों राज्यों के बीच सीमा विवाद अब दिल्ली तक पहुंच चुका है। केंद्र सरकार भी इस मसले को जल्द से जल्द सुलझा देना चाहती है। ताकि इस तरह की हिंसक झड़प आगे नही हो।